देश-दुनिया में भगवान श्रीकृष्ण के अनेक मंदिर हैं, लेकिन झारखंड के गढ़वा जिले स्थित बाबा बंशीधर मंदिर की कहानी सबसे अलग है।यहां नगरऊंटारी में भगवान श्रीकृष्ण और राधा रानी की मूर्ति सोने से बनी हुई है। यहां भगवान श्रीकृष्ण की मूर्ति 1280 किलो सोने से बनी है, जिसकी कीमत 716 करोड़ रुपए से अधिक है।

जहां देश ही नहीं दुनिया की सबसे कीमती श्रीकृष्ण की मूर्ति विराजमान है। जिसे देखने के लिए देश-विदेश से लोग आते हैं, लेकिन इस बार यहां का माहौल भी शांत है। स्थानीय लोग बताते हैं कि यह मूर्ति मुगल काल की है।

तब 1828 में खुदाई के दौरान तत्कालीन रानी को मूर्ति मिली थी। मूर्ती 10 फीट ऊंची है।आज भी इसका 5 फीट हिस्सा जमीन के अंदर है और शेष 5 फीट जमीन से बाहर।
पौराणिक कथाओं के अनुसार रानी ने एक बार जन्माष्टमी की और उसी रात भगवान ने उन्हें सपने में दर्शन दिए।सपने में ही भगवान ने कहा कि कनहर नदी के किनारे शिवपहरी पहाड़ी में उनकी प्रतिमा जमीन के नीचे दबी पड़ी है, उसे ले आओ।

इस सपने के बाद सुबह रानी अपनी सेना के साथ उस पहाड़ी पर गईं और पूजा-अर्चना के बाद उनके बताई गई स्थान पर खुदाई की।खुदाई के दौरान रानी को बंशीधर की ये प्रतिमा मिली। इस प्रतिमा को हाथी पर रखकर नगरऊंटारी लाया गया।

बेशकीमती मूर्ति की हिफाजत के लिए नहीं है खास सुरक्षा के इंतजाम बताया जाता है कि रानी इस प्रतिमा को अपने किले में स्थापित करना चाहती थीं, परंतु किले के मुख्य द्वार पर हाथी बैठ गया और लाख प्रयास के बाद भी वह यहां से नहीं उठा। रानी ने उसी स्थान पर प्रतिमा स्थापित कर मंदिर बनवाया।